Jaunpur News अविश्वास प्रस्ताव में नहीं हारीं आशा यादव, बदलापुर ब्लॉक प्रमुख की कुर्सी बरकरार

Neeraj Yadav Swatantra
By -
0

 

बदलापुर ब्लॉक प्रमुख अविश्वास प्रस्ताव आशा यादव जौनपुर की राजनीति बदलापुर ब्लॉक पंचायत उत्तर प्रदेश पंचायत चुनाव

बदलापुर/जौनपुर।
बदलापुर ब्लॉक की प्रमुख आशा यादव के खिलाफ लाया गया अविश्वास प्रस्ताव बुधवार को पारित नहीं हो सका। 105 क्षेत्र पंचायत सदस्यों में से केवल 48 ही प्रस्ताव के समर्थन में उपस्थित हुए, जो आवश्यक संख्या से कम थे। ऐसे में प्रमुख आशा यादव की कुर्सी सुरक्षित रही।

इस राजनीतिक घटनाक्रम को लेकर जहां विपक्षी खेमे में मायूसी छा गई, वहीं आशा यादव के समर्थकों में जबरदस्त उत्साह देखने को मिला। मौके पर मौजूद पूर्व ब्लॉक प्रमुख अशोक यादव ने मिठाई बांटकर खुशी का इजहार किया।

भीड़भाड़ और सुरक्षा प्रबंधन:
अविश्वास प्रस्ताव को देखते हुए शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए भारी पुलिस बल तैनात किया गया था। एएसपी ग्रामीण शैलेंद्र सिंह के नेतृत्व में सीओ शाहगंज अजीत कुमार चौहान, सीओ मडियाहूं जितेंद्र सिंह, सीओ मछलीशहर प्रतिमा वर्मा, सीओ बदलापुर विवेक सिंह, सीओ सदर परमानंद कुशवाहा सहित 10 कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक, PAC की तीन प्लाटून, दो फायर टेंडर, 400 सिपाही, 50 दरोगा, और यातायात प्रभारी सुशील मिश्रा की टीम मौजूद रही।

अविश्वास प्रस्ताव की कार्यवाही का विवरण:
वार्ड संख्या 41 के क्षेत्र पंचायत सदस्य अमित शर्मा पुत्र शोभनाथ द्वारा ब्लॉक प्रमुख आशा यादव पत्नी अरुण यादव के विरुद्ध 18 मार्च को अविश्वास प्रस्ताव जिलाधिकारी दिनेश चंद्र सिंह को सौंपा गया था। प्रस्ताव में आधे से अधिक सदस्यों के हस्ताक्षर और शपथ पत्र संलग्न थे।

इसके बाद 16 अप्रैल को क्षेत्र पंचायत सभागार में बैठक बुलाई गई, जिसकी अध्यक्षता एसडीएम बदलापुर डॉ. योगिता सिंह ने की। बैठक में कुल 105 सदस्यों में से केवल 48 ही उपस्थित हुए।
उत्तर प्रदेश पंचायत अधिनियम 1961 की धारा 8 और 2007 के विधि संशोधन अध्यादेश के अनुसार, दो तिहाई बहुमत न होने की स्थिति में मतदान की प्रक्रिया नहीं कराई गई। कार्यवाही की प्रति जिलाधिकारी और जिला पंचायत राज अधिकारी को भेज दी गई है।

राजनीतिक पृष्ठभूमि:
गौरतलब है कि वर्ष 2021 में हुए ब्लॉक प्रमुख चुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी आशा यादव ने जीत दर्ज की थी। उनके खिलाफ भाजपा प्रत्याशी ज्योति सिंह पत्नी डॉ. मनोज कुमार सिंह और सपा की गीता सिंह पत्नी अखिलेश सिंह चुनावी मैदान में थीं।

सूत्रों की मानें तो इस अविश्वास प्रस्ताव के पीछे भाजपा की पूर्व प्रत्याशी ज्योति सिंह की भूमिका बताई जा रही है, जिन्होंने पूर्व में चुनाव परिणाम को लेकर पक्षपात के आरोप भी लगाए थे।

समर्थकों की प्रतिक्रिया:
अविश्वास प्रस्ताव खारिज होने के बाद बदलापुर ब्लॉक परिसर में जश्न जैसा माहौल बन गया। मौके पर मरगूपुर के ग्राम प्रधान अजय सिंह, बहुर के प्रधान राकेश तिवारी, अधिवक्ता मुन्ना लाल यादव, महेन्द्र यादव, कमलेश यादव, अखिलेश कुमार सिंह, बबलू सिंह, विपिन पाण्डेय, दिनेश तिवारी सहित लगभग 500 समर्थक उपस्थित रहे।

एक टिप्पणी भेजें

0टिप्पणियाँ

एक टिप्पणी भेजें (0)

#buttons=(Ok, Go it!) #days=(20)

Our website AAWAZ NEWS uses cookies to enhance your experience. Learn more
Ok, Go it!